पटना: बिहार विधान परिषद की 7 सीटों पर होने वाले चुनाव को लेकर एनडीए के अंदर टकराव देखने को मिल रहा है। एनडीए को जिन 4 सीटों पर अपने उम्मीदवार भेजने हैं उसे लेकर दावेदारी भी तेज होती दिख रही है। कटिहार में आयोजित भारतीय जनता पार्टी के प्रदेश कार्यसमिति की बैठक के दौरान पार्टी ने 3 सीटों पर अपनी दावेदारी रखी थी। लेकिन, अब जनता दल यूनाइटेड ने विधान परिषद चुनाव में 50-50 का फार्मूला अपनाए जाने की बात कही है। वहीं, जीतन राम मांझी ने भी एनडीए की मुश्किलें बढ़ा दी है।
जदयू के वरिष्ठ नेता और बिहार सरकार के मंत्री विजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि विधान परिषद चुनाव में जदयू और भाजपा 50-50 के फार्मूले पर काम करेगी। 2 सीटों पर भाजपा के उम्मीदवार जाएंगे और 2 सीटों पर जदयू के उम्मीदवार विधान परिषद जाएंगे। विजेंद्र यादव ने यह भी कहा कि इसे लेकर भाजपा के नेताओं से बातचीत चल रही है। मंत्री विजेंद्र प्रसाद यादव ने कहा कि जल्द ही विधान परिषद चुनाव में उम्मीदवारों को लेकर फैसला लिया जाएगा।
वहीं, दूसरी तरफ भाजपा प्रदेश अध्यक्ष संजय जायसवाल ने कहा है कि विधान परिषद में भारतीय जनता पार्टी 3 सीटों पर अपने उम्मीदवार भेजेगी। जाहिर है विधान परिषद चुनाव में सीट बंटवारे का फार्मूला क्या होगा? इसे लेकर भाजपा और जदयू का फिलहाल अलग अलग दिख रही है। विधानसभा में संख्या बल के हिसाब से भाजपा के पास ज्यादा विधायक हैं जबकि जदयू के विधायकों की संख्या कम है। ऐसे में देखना काफी दिलचस्प होगा कि आगे बातचीत किस तरह बढ़ पाती है।
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इसके अलवा, हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा के विश्वस्त सूत्रों की माने तो, विधान परिषद की 1 सीट को लेकर जीतन राम मांझी ने मुख्यमंत्री नीतीश कुमार से बातचीत की है। उनकी बातचीत जदयू के वरिष्ठ नेता और बिहार सरकार के मंत्री विजय कुमार चौधरी से भी हुई है। मांझी ने स्पष्ट तौर पर कहा कि वह जनता दल यूनटेड के साथ ही एनडीए गठबंधन में शामिल हुए थे, इसलिए जदयू की जिम्मेदारी बनती है कि विधान परिषद की 1 सीट हिंदुस्तानी आवाम मोर्चा दें।
बता दें कि बिहार विधान परिषद की 7 सीटों के लिए आगामी 20 जून को चुनाव होना हैं। इसके लिए गुरुवार से नामांकन की प्रक्रिया शुरू हो गई। 7 सीटों में से तीन पर राजद की तरफ से उम्मीदवारों की घोषणा कर दी गई है। लेकिन, एनडीए खाते की बाकी बची चार सीटों पर उम्मीदवारों के नामों की घोषणा नहीं हो सकी है। इन चार सीटों को लेकर जदयू, भाजपा और हम पार्टी के बीच खींचतान जारी रही है। ऐसे में देखना चिलचस्प होगा कि सीटों के बंटवारे को लेकर दोनों दलों के बीच किस फार्मूले पर सहमति बन पाती है।
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